Jhalawar वर्षगांठ पर आकार नहीं ले पाएगा रैन बसेरा, अगले साल होगा तैयार

Jhalawar वर्षगांठ पर आकार नहीं ले पाएगा रैन बसेरा, अगले साल होगा तैयार
 
झालावाड़ न्यूज़ डेस्क, झालावाड़    जिले की एतिहासिक धरोहर रेन बसेरे के जलने के करीब 12 साल बाद रेन बसेरा फिर से पूराने स्वरूप में नजर आएगा। लेकिन काम की कुछआ चाल के चलते 12.12.2024 को रेन बसेरे को फिर से आमजन के लिए खोलने की उमीद पूरी होती नजर नहीं आ रही है। हालांकि सार्वजनिक निर्माण विभाग द्वारा बनाया जा रहा है। लेकिन अधिकारियों के सामने ये दिक्कत आ रही है कि रेन बसेरे को पूर्व स्वरूप देने के लिए टाइल्स व कई चींजे पहले जैसी लगाने में समय लग रहा है। टाइल्स आदि भी बाहर से मंगवानी पड़ रही है।सूत्रों ने बताया कि रेन बसेरा बाहर से सीमेंट कंक्रीट का बनेगा लेकिन अंदर से इसे पुराने स्वरूप में ही आकार दिया जा रहा। इसके लिए राजस्थान पर्यटन विकास निगम लिमिटेड जयपुर ने 2 करोड 66 लाख का बजट जारी किया है। लेकिन इसके सिविल वर्क के लिए 1 करोड़ 40 लाख रूपए स्वीकृत किए गए है, शेष कार्य इलेक्ट्रिकल शाखा द्वारा किया जाएगा। ऐसे में जल्द ही नए साल में जिलेवासियों को रेन बसेरा देखने को मिलेगा जो शहर के लिए एक अनूठी इमारत होगी।

इतने पिलर पर तैयार

रेन बसेरा के पुनर्निर्माण का काम देख रहे सार्वजनिक निर्माण विभाग के सहायक अभियंता चिंटू यादव ने बताया कि 25 पाइल फाउंडेशन और 25 पिलर पर इसका स्ट्रक्चर तैयार हो चुका है। इसे इस तरह से डिजाइन किया गया है कि ये न केवल मजबूत होगा बल्कि लंबे समय तक टीका रहेगा। इसके हर पिलर पर वुडन कार्य होगा। साथ ही दीवारों, फाल सिलिंग और अंदर से सब जगह वुडन कार्य होगा। ताकि ये यह पहले जैसा ही दिखाई देगा। वुडन कार्य के लिए ऐसी लकड़ी उपयोग में ली जाएगी,जो लंबे समय तक खराब न हो और जिसकी चमक बनी रहे। साथ ही इसकी छत को भी पुराने रेन बसेरा की तरह ही डिजाइन किया गया है।

इसलिए लग रहा समय

काठ के रेन बसेरे की तरह ही लुक देने के लिए वैसी ही डिजाइन बनाई जा रही है। टाइल्स आदि वैसी ही सलेक्ट की जा रही है, ताकि पूर्व की भांती ही नजर आए। वहीं बीच में दो-तीन माह बजट नहीं आने से ठेकेदार के बिलों का भुगतान समय पर नहीं होने के चलते भी काम में देरी हो रही है।

गार्डन व धूप घड़ी लगाने की मांग

शहर के सामाजिक कार्यकर्ता व पर्यटन विकास समिति के पदाधिकारियों ने रेन बसरे में गार्डन विकसित करने व धूप घड़ी लगाने की मांग की है। ताकि ये अनूठी चीज भी यहां आने वाले लोगों को आकर्षित करें।