यूक्रेनी राष्ट्रपति नाटो सदस्यता के बदले संघर्ष समाप्त करने को तैयार : रिपोर्ट

कीव, 30 नवंबर (आईएएनएस)। राष्ट्रपति वोलोदिमिर जेलेंस्की ने कहा कि वह उत्तर अटलांटिक संधि संगठन (नाटो) में यूक्रेन की सदस्यता के बदले में रूस के साथ संघर्ष के 'उग्र चरण' को समाप्त करने को तैयार हैं.
 

कीव, 30 नवंबर (आईएएनएस)। राष्ट्रपति वोलोदिमिर जेलेंस्की ने कहा कि वह उत्तर अटलांटिक संधि संगठन (नाटो) में यूक्रेन की सदस्यता के बदले में रूस के साथ संघर्ष के 'उग्र चरण' को समाप्त करने को तैयार हैं.

समाचार एजेंसी सिन्हुआ के अनुसार इंटरफैक्स-यूक्रेन समाचार एजेंसी ने जेलेंस्की के हवाले से कहा, "यदि हम युद्ध के इस 'उग्र चरण' को रोकना चाहते हैं, तो हमें यूक्रेन के उस क्षेत्र को, जो हमारे नियंत्रण में है, नाटो के छत्र के अधीन करना होगा। हमें यह काम तेजी से करना होगा।"

जेलेंस्की ने कहा कि बाद में यूक्रेन कूटनीतिक तरीके से उन क्षेत्रों को वापस ले सकता है, जो अब रूस के कब्जे में हैं।

यूक्रेनी राष्ट्रपति ने इस बात पर जोर दिया कि युद्धविराम जरूरी है ताकि यह सुनिश्चित किया जा सके कि रूस यूक्रेनी क्षेत्र पर कब्जा करने के लिए 'वापस न आए'।

जेलेंस्की का यह बयान इन आशंकाओं के बीच आया है कि नव निर्वाचित राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप अमेरिका के राष्ट्रपति पद संभालने के बाद यूक्रेन की दी जाने वाली यूएस मदद को सीमित कर सकते हैं।

इस बीच यूरोप के कई देशों ने यूक्रेन के प्रति अपना समर्थन जारी रखने और उसे बढ़ाने का वादा किया है। नॉर्डिक और बाल्टिक देशों के नेताओं ने पोलैंड के प्रधानमंत्री डोनाल्ड टस्क के साथ मिलकर कीव को यह आश्वासन दिया।

डेनमार्क, एस्टोनिया, फिनलैंड, नॉर्वे, पोलैंड, स्वीडन के प्रधानमंत्रियों और लातविया के विदेश मंत्री ने दो दिवसीय बैठक के दौरान यह घोषणा की। बैठक स्वीडिश प्रधानमंत्री के निवास स्थान हार्पसंड में आयोजित हुई।

स्वीडिश पीएम उल्फ क्रिस्टर्सन ने 27 नवंबर को मीडिया को बताया कि बैठक में शामिल होने वाले देशों ने यूक्रेन के रक्षा उद्योगों को बढ़ावा देने, अधिक गोला-बारूद उपलब्ध कराने जरिए यूक्रेन को अपना समर्थन बढ़ाने पर सहमति जताई।

बता दें अमेरिका के नव निर्वाचित राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने यूक्रेन के लिए अमेरिकी मदद की बार-बार आलोचना की है। वह दावा करते रहे हैं कि सत्ता में आने पर कुछ ही घंटों में युद्ध विराम करवा सकते हैं। उनके बयानों ने कीव और यूरोप में इस बात को लेकर आशंकाएं पैदा कर दीं कि भविष्य में यूक्रेन के लिए अमेरिकी समर्थन सीमित हो सकता है।

--आईएएनएस

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