कैसे लगाए फोन में छिपे खतरनाक वायरस का पता ? यहां जानिए स्टेप बाय स्टेप पूरा प्रोसेस

कैसे लगाए फोन में छिपे खतरनाक वायरस का पता ? यहां जानिए स्टेप बाय स्टेप पूरा प्रोसेस
 
कैसे लगाए फोन में छिपे खतरनाक वायरस का पता ? यहां जानिए स्टेप बाय स्टेप पूरा प्रोसेस

टेक न्यूज़ डेस्क - आजकल ज़्यादातर स्मार्टफोन इंटरनेट से कनेक्टेड होते हैं। ऐसे में स्मार्टफोन में वायरस का खतरा बढ़ जाता है, जिससे बैंकिंग फ्रॉड जैसी घटनाएं हो सकती हैं। ऐसे दौर में आपको वायरस के खतरों को लेकर सतर्क रहने की ज़रूरत है। हालांकि, वायरस के मामले में सबसे बड़ी समस्या यह है कि इसकी पहचान करना मुश्किल होता है। हालांकि, हम आपको कुछ खास पॉइंट्स के बारे में बता रहे हैं, जिससे फोन में वायरस या मैलवेयर की पहचान की जा सकती है।

फोन में वायरस और मैलवेयर की पहचान कैसे करें
स्मार्टफोन की धीमी स्पीड

जब आप स्मार्टफोन इस्तेमाल करते हैं, तो कई बार आप नोटिस करते हैं कि स्मार्टफोन अचानक थोड़ा धीमा हो गया है। तकनीकी शब्दों में बात करें तो फोन की प्रोसेसिंग स्पीड कम हो जाती है। इसकी वजह वायरस हो सकता है। ऐसे में अगर अचानक स्पीड कम हो जाए, तो आपको सतर्क हो जाना चाहिए।

बैटरी का तेज़ी से खत्म होना
वायरस के मामले में देखा जाता है कि फोन की बैटरी तेज़ी से डिस्चार्ज हो जाती है, क्योंकि फोन में वायरस एक्टिव होता है, जो बैकग्राउंड में बैटरी को तेज़ी से डिस्चार्ज करता है। जब भी आपके फोन की बैटरी जल्दी डिस्चार्ज हो जाए, तो उस पर ध्यान देना चाहिए।

इंटरनेट जल्दी खत्म हो जाना
जब फोन में वायरस होते हैं तो वे बैकग्राउंड में चलते रहते हैं, जिससे फोन का डेटा जल्दी खत्म हो जाता है। ऐसे में आपको अपने डेटा खपत पर ध्यान देना चाहिए।

अनावश्यक पॉपअप और विज्ञापन
आपको अपने फोन की सेटिंग में जाकर अनावश्यक पॉपअप को बंद कर देना चाहिए, क्योंकि ये फोन में मैलवेयर के एंट्री पॉइंट हो सकते हैं। ऐसे में अगर आपको अपने फोन में अनावश्यक विज्ञापन दिखें तो आपको उन्हें बंद कर देना चाहिए।

फोन को कैसे सुरक्षित करें
फोन में मौजूद संवेदनशील ऐप्स को पहचानें और उन्हें अनइंस्टॉल करें।
फोन में बिना अनुमति के इंस्टॉल किए गए ऐप्स को हटा दें।
फोन में ऐप को केवल गूगल प्ले स्टोर और एप्पल ऐप स्टोर से ही डाउनलोड करें।
अगर फोन में वायरस का खतरा है तो डेटा को सेव करके उसे फैक्ट्री रीसेट कर दें।
किसी अनजान लिंक पर क्लिक न करें।
फोन में सॉफ्टवेयर को समय-समय पर अपडेट करते रहें।